आयकर विभाग ने हैदराबाद स्थित कोरोना के रूसी टीका स्पूतनिक वी के विनिर्माण के लिए प्रत्यक्ष निवेश रूसी कोष के साथ एग्रीमेंट करने वाली हेटरो फार्मास्यूटिकल समूह पर हाल में की गई छापेमारी के बाद 550 करोड़ रुपये की “बेनामी” सम्पति का पता लगाया है। 6 राज्यों में करीब 50 ठिकानों पर छापा मारने पहुंची टीम को करीब 142.87 करोड़ रुपये से अधिक नकद राशि जब्त की है। फिलहाल इस कार्यवाही को लेकर अधिकारियों की कोई टिप्पणी अब तक नहीं आई है लेकिन इस कार्यवाही के बाद दवा कंपनियों में हड़कंप मच गया। सीबीडीटी आयकर विभाग के लिए नीति तैयार करता है।
मिली जानकारी के अनुसार एक्टिव फार्मास्यूटिकल इनग्रेडियंट्स (एपीआई) तथा फॉर्मूलेशन के व्यवसाय से जुड़ा है. अधिकतर उत्पाद विदेशों यानी अमेरिका, यूरोप, दुबई एवं अन्य अफ्रीकी देशों में निर्यात किए जाते हैं. सीबीडीटी छापा के दौरान कई सीक्रेट ठिकानों की पहचान की गई, जहां बही खातों के दूसरे सैट तथा नकदी पाए गए थे.केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) ने एक बयान में बताया, “छापेमारी के दौरान, कई बैंक लॉकरों का पता चला जिनमें से 16 लॉकर चालू स्थिति में थे। छापेमारी में अब तक 142.87 करोड़ की बेहिसाबी नकद राशि जब्त की गई है।” इसने कहा, “पता लगाई गई बेहिसाबी आय अब तक तकरीबन 550 करोड़ रुपये तक की है।
डिजिटल मीडिया पेनड्राइव,हार्ड डिस्क दस्तावेज जब्त
बता दें कीसीबीडीटी ने कहा कि आगे की जांच जारी है। विभागीय सूत्रों की माने तो “फर्जी और गैर-मौजूद संस्थाओं से की गई खरीद में विसंगतियों और व्यय के कुछ विषयों की कृत्रिम बढ़ोतरी से संबंधित मुद्दों का पता चला। इसके अलावा, भूमि की खरीद के लिए पैसे के भुगतान के सबूत भी मिले थे। सीबीडीटी ने कहा, कई ऐसे अन्य कानूनी मुद्दों का भी पता चला जैसे कि व्यक्तिगत खर्च कंपनी के खातों में लिखा जा रहा था और संबंधित पक्षों द्वारा खरीदी गई जमीन की कीमत “सरकारी पंजीकरण मूल्य से कम” दर्शाई गई थी। डिजिटल मीडिया, पेनड्राइव, हार्ड डिस्क दस्तावेज आदि के रूप में अपराध सिद्ध करने वाले आपत्तिजनक साक्ष्य मिले हैं और उन्हें जब्त कर लिया गया है.
इन प्रोडक्ट का करता है मैन्युफैक्चरिंग
कई समझौतों पर हस्ताक्षर करने और कोविड-19 के इलाज के लिए रेमेडेसिविर और फेविपिरावीर जैसी महत्वपूर्ण दवाएं विकसित करने के कारण हेटरो समूह सुर्खियों में रहा था। हेटेरो के पास दुनिया भर में 36 अत्याधुनिक विनिर्माण सुविधाएं हैं, जो प्रमुख चिकित्सीय श्रेणियों जैसे HIV/AIDS, ऑन्कोलॉजी, कार्डियोवस्कुलर, न्यूरोलॉजी, हेपेटाइटिस, नेफ्रोलॉजी आदि के लिए उत्पाद बनाती है. दुनिया में एक्टिव फार्मास्यूटिकल इंग्रेडिएंट्स (API) के सबसे बड़े प्रोडक्ट में से, इसके रणनीतिक व्यावसायिक क्षेत्र API, ग्लोबल जेनेरिक, बायोसिमिलर और कस्टम फार्मास्युटिकल सेवाओं में फैले हुए हैं.