Health gulmohar : गुलमोहर के वृक्ष को लोग आपने घर के सामने लगते है,जिससे घर की ख़ूबसूरती बढ़ जाए। यह पेड़ ना केवल देखने खूबसूरत है बल्कि औषधियों से भी भर पूर है,गुलमोहर के फूल तप्ती धूप गर्मी के मौसम में मई के महीने में ही इसके फूल खिलते हैं और नवंबर का महीना शुरू होते ही इसकी पत्तिया पीली हो जाती है .इस फूल की पत्तियों, फल जड़ छाल का उपयोग किया जाता है , आयुर्वेदिक दवाओं को बनाने में स्तेमाल किया जाता है. इसलिए इसे आयुर्वेद वृक्ष भी कहते है. गुलमोहर के फूल और फलियाँ मीठे, रुचिकर, पुष्टिकारक और पौष्टिक होते हैं।
यह सामान्य कमजोरी, प्यास, दस्त, एनीमिया, नकसीर, श्वेत प्रदर, पीलिया, भूख न लगना और मधुमेह में उपयोगी है। हल्दी गुलमोहर शीतल, सुखदायक और त्रिदोषों का शमन करने वाली है। ऐसे कई बिमारीयो के लिए असर दार साबित होता है। इसकी पत्तियां उतनी ही लाभकारी है जितने के फूल इसका भी कई रोगो में लाभ होता है ,रोगो के लिए जैसे कीअतिसार-रोधी, हेपेटोप्रोटेक्शन, फ्लेवोनोइड्स और एंटी डायबिटिक गुण पाए जाते हैं। गुलमोहर के तने की छाल में खून को बहने से रोकने के गुण, मूत्र और सूजन से जुड़ी समस्याओं को खत्म करने के छमता प्रबल होती हैं. Health gulmohar
देश में मिलने वाले पुराने वृक्षों में से एक गुलमोहर को अलग -अलग स्थानों में अलग – अलग कई नाम से पहचाना जाता है। फ्लेम ट्री या फायर ट्री के नाम से जाना पहचाना जाने वाला यह पेड़ डेलोनिक्स रेजिया,रायल पाइंसियाना, के नाम से भी जाना जाता है। वही आयुर्वेदिक चिकित्सा पद्धति के अनुसार गुलमोहर के हरे पत्तों को पानी में महीन पीसकर लेप बनाकर सिर पर करीब 1 से 2 महीने तक लगातार लगाने से गंजेपन की समस्या से भी निजात पाया जा सकता है. इसके अलावा इसकी छाल के चूर्ण को देसी शहद के साथ मिक्स करके सेवन करने से मुंह के छाले, मसूड़े, होंठो और जीभ में आने वाली मामूली चोटें में लगाया जाए तो इन बीमारियों से निजात मिल जाती है। Health gulmohar
Disclaimer: इस खबर में दी गई दवा/औषधि और स्वास्थ्य से जुड़ी सलाह, एक्सपर्ट्स से की गई बातचीत के आधार पर बताई गई है. यह सामान्य जानकारी है, व्यक्तिगत सलाह नहीं है . इसलिए डॉक्टर्स से सलाह के बाद ही कोई चीज उपयोग करें. विंध्य न्यूज किसी भी उपयोग से होने वाले नुकसान के लिए जिम्मेदार नहीं होगा. Health gulmohar