Couples Physical Relation: desk report – हमारे समाज में जब बात संबंध (relationship) बनाने या इससे जुड़ी कोई बात आती है तो लोग थोड़ा संभल जाते हैं। लेकिन देश में कई जगह ऐसी भी हैं जहां शादी (marriage) से पहले परिवार के लोग ही अपने बेटे-बेटियों को ऐसा करने के लिए प्रोत्साहित करते हैं। इसके बाद लड़के-लड़कियां (boys and girls) अपना मनपसंद साथी चुनते हैं। किस राज्य में कहां का है मामला?
Couples Physical Relation: शादी से पहले फिजिकल रिलेशन… (Physical relationship…)कुछ इसका समर्थन करते हैं तो कई इसका विरोध करते हैं। पश्चिमी देशों में शादी से पहले सम्बन्ध बनाना आम बात है। लेकिन हमारे देश में जहां परंपरा (tradition) का सम्मान किया जाता है वहां समाज ऐसी बातों को स्वीकार नहीं करता है. कॉस्मोपॉलिटन कल्चर (Cosmopolitan culture) में रहने वाले युवाओं का मानना है कि शादी से पहले ऐसा रिश्ता गलत नहीं है। कई स्टडीज में ये बात सामने आई है कि कई लोग ऐसे भी थे जिन्होंने शादी से पहले सम्बन्ध बनाया था। लेकिन फिर भी किसी के सामने यह कहना मुश्किल है कि वह अपने दिल में क्या सोचता है। लेकिन क्या आप जानते हैं कि हमारे देश में एक ऐसी भी जगह है जहां युवाओं को शादी से पहले रोमांस और यौन संबंध बनाने की आजादी है। आइए जानते हैं इस जगह के बारे में…
मुरिया आदिवासी छत्तीसगढ़ के बस्तर जिले के नक्सल प्रभावित इलाकों में रहते हैं। ये गोंड जनजाति में ही आते हैं। उनके रीति-रिवाज और परंपराएं बिल्कुल अलग हैं। जानकर आप हैरान रह जाएंगे। आमतौर पर हमारे देश में फिजिकल रिलेशन के बारे में बात करना एक बड़ी गलती मानी जाती है। लेकिन इन आदिवासी जनजातियों में यह आम है। यहां कम उम्र के लड़के-लड़कियों को शारीरिक संबंध बनाने की आजादी दी जाती है। इतना ही नहीं इसका प्रचार भी किया जाता है। Couples Physical Relation
लड़की खुद अपना पार्टनर चुनती है
हालाँकि, इस जनजाति की घोटुल नाम की एक परंपरा है। घोटुल का अर्थ है बांस के बड़े खंभों से बना ढांचा। ये शहरी क्षेत्रों में नाइट क्लबों की तरह हैं। यहां मुरिया जनजाति के युवा डांस सीखते हैं। गाना गाते है युवा यहां एक-दूसरे को जानने और मौज-मस्ती करने आते हैं। 10 साल से ऊपर का कोई भी बच्चा घोटुल जा सकता है। नहीं जाता तो उसके माता-पिता खुद उसे भेज देते हैं। यहां युवती हर रात एक युवक की तलाश करती है। उसके साथ रोमांस करती है उस पर कोई दबाव नहीं होता है। वह खुद अपना साथी चुनती है। उसमें उन्हें आजादी है। हालांकि, गर्भधारण से बचने के लिए लड़कियां हर्बल गर्भनिरोधक का सेवन करती हैं। लेकिन फिर भी बच्चा पैदा हो जाता है और उसके पिता का पता नहीं चलता इसलिए पूरा गांव बच्चे को गोद ले लेता है। Couples Physical Relation
कंघी से पार्टनर की पहचान
पार्टनर तलाशने की भी एक खास प्रक्रिया होती है। घोटुल पहुंचने वाले लड़के अपनी पसंद की लड़कियों को बांस की कंघी देते हैं। उन्हें सिर पर रखा जाता है। लड़की को यह अच्छा लगेग तो वह उसे अपने तो समूह में रख लेती है, नहीं तो कंघी उतार देती है। बालों में कंघी रखने का मतलब है कि लड़की को लड़का पसंद है। अब वे साथ रह सकते हैं और जो चाहें कर सकते हैं। अगर कुछ महीनों बाद दोनों एक-दूसरे को पसंद करते हैं तो दोनों परिवारों के बड़े-बुजुर्ग उनकी शादी कर देते हैं। कई तो ऐसे लोग हैं जिनकी शादी प्रेग्नेंसी के दौरान ही हो जाती है। घोटुल प्रौढ़ शिक्षा की जानकारी प्रदान करता है। रोमांस से जुड़े मिथक भी दूर होंगे। स्थानीय लोगों का कहना है कि इस परंपरा के चलते आदिवासी इलाकों में यौन उत्पीड़न नहीं होता है. अभी तक यहां ऐसा एक भी मामला दर्ज नहीं हुआ है।