सिंगरौली । रिलायंस सासन पावर में कल हुए हादसे में एक श्रमिक की दर्दनाक मौत के बाद सुरक्षा को लेकर संविदा कंपनियां घिरती जा रही हैं। आरोप है कि यहां सुरक्षा मापदण्डों का पालन नहीं किया जा रहा है। इस मामले में श्रम विभाग चुप्पी साधे हुए है। रिलायंस सासन पावर में जांच कर कार्रवाई करने से श्रम विभाग का अमला कतराता नजर आता है।
गौरतलब हो कि कल सोमवार को रिलायंस सासन पावर में कार्यरत संविदा कंपनी एवन फेसिलिटो मैनेजमेंंट प्रा.लि.कंपनी में कार्य के दौरान लिफ्ट हादसे में श्रमिक संत बहादुर पिता जमुना प्रसाद बैस उम्र 40 वर्ष की मौत हो गयी थी। श्रमिक की मौत के बाद यहां कार्यरत कई श्रमिकों ने सुरक्षा को लेकर संविदा कंपनी पर गंभीर आरोप मढ़ दिया है।
आरोप लगाया जा रहा है कि कंपनी द्वारा जहां मनमानी तौर कार्य लिया जा रहा है तो वहीं श्रमिकों का शोषण करने में संविदा कंपनी कोई कोर कसर नहीं छोड़ रही है। कल सोमवार को जिला चिकित्सालय सह ट्रामा सेंटर में पहुंचे मृतक श्रमिक संत बहादुर के परिजनों ने व वहां कार्यरत उसके दो भाईयों ने सुरक्षा व्यवस्था की पोल खोल दिया। हालांकि इस मामले में संविदा कंपनी का कोई पक्ष नहीं आया है। लेकिन आरोप है कि संत बहादुर की मौत कंपनी के जिम्मेदार अमले की लापरवाही से हुई है। इन पर भी आपराधिक प्रकरण पंजीबद्ध होना चाहिए।
मृतक के परिजनों ने श्रम विभाग के अमले पर कंपनी से मिलीभगत का आरोप लगाते हुए कहा है कि कुछ महीने पहले इसी कंपनी के द्वारा कम पारिश्रमिक भुगतान किया जा रहा था। जिसकी शिकायत कलेक्टर के यहां की गयी थी। श्रम विभाग के द्वारा संविदाकार को नोटिस जारी की गयी। हैरानी की बात है कि श्रमिक विभाग का कोई अमला जांच करने नहीं गया, बल्कि ठेकेदार ने ही सादे कागज में उल्टा सीधा अपने पक्ष मेें लिखा पढ़ी कराकर जबरन हस्ताक्षर करा लिया था। जब लिखा-पढ़ी के संबंध में श्रमिक जानने का प्रयास करने लगे तो श्रमिकों को कार्य से भगा दिये जाने चेतावनी दी जाने लगी। फिलहाल श्रमिक की हुई मौत के मामले में संविदा कंपनी के ठेकेदार पर गंभीर लापरवाही का आरोप मढ़ा जा रहा है। चर्चा है कि यदि पुलिस की विवेचना में संविदाकार की लापरवाही साबित हुई तो अपराध भी पंजीबद्ध किया जायेगा।
इनका कहना है
संत बहादुर के मौत के मामले में मर्ग कायम कर विवेचना की जा रही है। यदि विवेचना के दौरान संविदाकार की लापरवाही सामने आयी तो अपराधिक प्रकरण पंजीबद्ध किया जायेगा।
अरूण कुमार पाण्डेय,टीआई, कोतवाली बैढऩ