Road Accident सिंगरौली 26 नवम्बर। जिले में सड़कों पर खून के लाल निशान सड़क हादसों की गवाही दे रहे हैं। आए दिन लगातार हादसों से लोग डरे हुए हैं, जिले भर में सन्नाटा पसरा है। सोमवार को लंघाडोल और कोतवाली क्षेत्र में सड़क हादसे के बाद आधी रात तक बवाल चला। दूसरे दिन दहशत के बीच लोगों में गम, गुस्सा और बेबसी नजर आई। अपनों को खोने वालों के घरों में मातम तो जिले में सन्नाटा पसरा रहा। सबके मन में एक ही सवाल कौंध रहा था कि आखिर कब तक सड़के खून से लथपथ होती रहेगी। आखिर यह सड़के कब जोड़ी होगी जिससे हादसों में कमी आए।
गौरतलब है कि ग्यारह महीने के दौरान सड़क हादसे में तकरीबन दो सैकड़ा से अधिक लोग काल के गाल में समा चुके हैं। वही सैकड़ों की संख्या में लोग घायल हुये हैं। ज्यादा तर सड़क हादसे परसौना-रजमिलान, गजरा बहरा-सरई एवं परसौना-बरगवां सड़क मार्ग में हुआ है। दो सैकड़ा से अधिक लोगों के चिराग बुझ गये हैं जबकि 11 महीने में करीब पॉच सैकड़ा से अधिक लोगबाग घायल होकर जीवन में मौत से संघर्ष कर रहे हैं। लेकिन अभी तक शासन-प्रशासन सहित जन प्रतिनिधियों की नीदें नही टूटी हैं। उक्त मार्ग को फोरलेन कराने के लिए अभी तक कोई सार्थक प्रयास ही नही किया जा रहा है। जिसके चलते सड़क हादसों में प्रशासन लगाम नही कस पा रहा है। Road Accident
सीएसआर के फण्ड पर सबकी नजर
आरोप लगाया जा रहा है कि औद्योगिक घरानों सहित प्रशासन के नजर में लोगों की जान की कीमत काफी सस्ती हैं। यदि किसी की जान चली जाती हो तो मृतक के परिजनों को तरह-तरह के आश्वासन देते हुए लाख-दो लाख रूपये सहायता देकर गहरे जख्म पर मरहम लगाकर खानापूर्ति कर लेते हैं। इस तरह की घटनाएं जिले में आए दिन हो रही है। प्रबुद्धजनो का आरोप है कि सड़क दुर्घटनाओं को रोकने के लिए न तो कारगर कदम उठाया जा रहा है और न ही जिला प्रशासन गंभीर है, बल्कि प्रशासन अपने पद से भटक कर ब्लैक डायमंड एवं रेत तथा औद्योगिक कंपनियों के सीएसआर के फण्ड पर नजरें चली गई। Road Accident
फोरलेन निर्माण के लिए बजट का रोना!
परसौना-बरगवां एवं गजरा बहरा-सरई तथा परसौना-रजमिलान-गढ़़ाखाड़ मार्ग के फोरलेन सड़क का निर्माण कार्य कराये जाने के लिए मामला जोर पकड़ने लगा है। पिछले दो दिनों के दौरान नौगई- निवास एवं झलरी में हुये सड़क हादसे में चार युवकों की अनायास हुई मौत को लेकर लोगबाग मुखर होने लगे हैं। नौगई के चक्कजाम में कई प्रबुद्धजनों ने मौके पर मौजूद सीएसपी एवं तहसीलदार को घेरते हुये सवालों की झड़ी लगा दी और कहा कि विभिन्न विभागों में डीएमएफ फण्ड से 50 करोड़ रूपये से अधिक सामग्री क्रय करने का बजट है। भोपाल प्रस्ताव भेजा जा चुका है। इसमें सबसे ज्यादा आईसीडीएस पर प्रशासन मेहरवान है। सामग्रियों के क्रय में भारी खेला होता है। वह जगजाहिर है। किन्तु फोरलेन सड़क का निर्माण कराने जिला प्रशासन स्तर से न तो भोपाल प्रस्ताव भेजा रहा है और न ही इसके पर कोई चर्चा किया जा रहा है। लोगों की जान से ज्यादा बहुमूल्य सामग्री है। Road accident
नौगई एवं झलरी में आधी रात तक चला चक्काजाम
नौगई सड़क मार्ग पर बीते दिन सोमवार की शाम दो युवकों की हुई अकाल मौत के बाद गुस्साए ग्रामीणों ने चक्काजाम कर दिया। उक्त मार्ग पर देर रात तक लोगों ने विरोध प्रदर्शन किया। इस दौरान पुलिस व प्रशासन के अधिकरी मौके पर पहुंचे थे। लेकिन भीड़ के आगे इनकी एक भी नही चली। पुलिस अधिकारी पहले तो तेवर दिखाएं मगर ग्रामीणों का आक्रोश देख कर उनके भी तेवर ठण्डे पड़ गये। करीब आधी रात तक जाम चला। यही हाल लंघाडोल थाना क्षेत्र के झलरी में भी रहा। Road Accident
सड़क सुरक्षा समिति के निर्देश हवा हवाई
जिले में दुर्घटनाओं पर अंकुश लगाने के लिए समय-सयम पर जिला प्रशासन की ओर से कंपनी अधिकारियों को बैठक बुलाई जाती है। जिसमें कोयला व फ्लाई ऐश परिवहन को लेकर गाईड लाईन तय किया जाता है। वही निर्धारित गाईड लाईन का पालन करने के लिए कंपनी अधिकारियों को सख्त निर्देशित किया जाता है। मगर सड़क सुरक्षा समिति की बैठक महज एक औपचारिकता में बनकर सिमट गई है। स्थिति यह है कि कलेक्टर के निर्देश का भी कथित औद्योगिक कंपनियों अधिकारी पालन नही कर रहे हैं। जिससे यह कहने में कोई संदेह नही हो रहा है कि सड़क सुरक्षा समिति में दिये जा रहे निर्देश केवल हवा हवाई रह गया है। यदि निर्देश का पालन किया जाता तो अभी एक सप्ताह के अन्दर हुई दुर्घटनाओं में जिस तरह से आधा दर्जन लोगों की मौत हो गई है। इसमें कहीं न कहीं जिला प्रशासन व जनप्रतिनिधियों को जिम्मेदार ठहराया जा रहा है। Road Accident