हार्निया से पीड़ित मरीज चिकित्सको के मोल-भाव से परेशान, चिकित्सकों ने कहा कहां सरकारी से बेहतर प्राइवेट अस्पताल में मिलेगा इलाज
सिंगरौली। जिला चिकित्सालय सह ट्रामा सेंटर बैढ़न में चिकित्सकों के दलाल सक्रिय हैं। यहां दलाल बेवस मरीजों से इलाज के लिए मोलभाव करते दिखाई देते हैं। आज दिन सोमवार को तकरीबन 12 बजे एक हार्निया का मरीज आया और ऑपरेशन जिला अस्पताल में कराने की बात कही तो, चिकित्सको ने कहा कि जिला अस्पताल में कुछ नही हो पाएगा, प्राईवेट नर्सिंग होम में चलो तो वहां में ऑपरेशन कर दूंगा।
गौरतलब है कि केन्द्र व प्रदेश सरकार दावा करती है कि अब गरीब मरीजों को सभी सरकारी अस्पतालों में नि:शुल्क इलाज की सुविधा प्रदान की जा रही है। साथ ही मरीजों का बेहतर इलाज हो सके, इसके लिए सरकार लाखों-करोड़ों रूपये की अत्याधुनिक मशीन व उपकरण एवं ऑपरेशन थियेटर जिला चिकित्सालय में मुहैया कराये गये और यही दावा जिला स्वास्थ्य अधिकारी सिंगरौली भी कर रहे हैं कि जिला अस्पताल सभी सुविधाओं से लैंस है। लेकिन सरकार और सीएमएचओ का दावा सिर्फ कागजों पर दौड़ रहा है।
हकीकत तो यह है कि जिला चिकित्सालय सह ट्रामा सेंटर में भले ही सारी सुविधाएं उपलब्ध हो, लेकिन चिकित्सालय के चिकित्सक ट्रामा सेंटर के ऑपरेशन थियेटर में जाना पसंद नही करते। क्योंकि इस थियेटर में उन्हें फायदा नही मिलता है। यही वजह है कि जिले के असहाय गरीब मरीजो को सरकार की नि:शुल्क प्रणाली का लाभ नही मिल पा रहा है और मजबूर होकर कर्ज तले दब प्राईवेट नर्सिंग होमों में बेहतर इलाज के लिए जा रहे हैं। आज जीता जागता उदाहरण दोपहर को देखने को मिला।
कचनी निवासी एक वृद्ध हार्निया बिमारी का इलाज कराने जिला चिकित्सालय पहुंचा तो वहां पर्ची कटाकर एक चिकित्सक के यहां पहुंचा और अपनी समस्या चिकित्सक से बताई, तो चिकित्सक ने सलाह दिया कि तुम्हे ज्यादा परेशानी है, इस लिए तुम तत्काल हार्निया का ऑपरेशन कराओ और जिला अस्पताल में ऑपरेशन संभव नही है। प्राईवेट क्लीनिक में चलो तो तुम्हारा 30 हजार में ऑपरेशन कर देंगे। फिर मरीज डॉक्टर के चेम्बर से निकला और दूसरे चिकित्सक के यहां पहुंचा, तो 35 हजार फीस बताई गई। वहां से भी निराशा हाथ लगी तो बाहर टकटकी लगाये बैठा एक निजी क्लीनिक का दलाल बोला 18 हजार रूपये में हार्निया का ऑपरेशन करा दूंगा।
30 हजार से शुरू और 18 हजार में तय हुआ सौदा
कहने के लिए तो जिला अस्पताल में कई गंभीर बिमारियों का इलाज के साथ ऑपरेशन भी नि:शुल्क में किया जाता है। लेकिन हकीकत यह है कि गंभीर बिमारियों से पीड़ित मरीजो पर डॉक्टरों सहित दलालों की गिद्ध की तरह नजर रहती है, वह मरीज को यह बताने में जुट जाते हैं कि सरकारी अस्पताल से बेहतर निजी चिकित्सालय में इलाज मिलेगा। इस मामले में भी पहले डॉक्टरों ने मरीज को प्राईवेट अस्पताल में इलाज के लिए मोटीवेट किया। एक चिकित्सक ने हार्निया के ऑपरेशन के लिए 30 हजार का खर्च बताया, तो वहीं एक दूसरे चिकित्सक ने 35 हजार, तबकि तीसरे डॉक्टर ने सहानुभूति जताते हुये 18 हजार रूपये में ही हार्निया के ऑपरेशन करने का सौदा तय कर लिया।
व्यवस्थाओं से बेखबर हैं सीएमएचओ
जिला चिकित्सालय सह ट्रामा सेंटर बैढ़न की वस्तुस्थिति और हालात को लेकर मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. पुष्पराज सिंह ठाकुर बेखबर हैं। जबकि डेढ़ माह पूर्व इसी चिकित्सालय सह ट्रामा सेंटर बैढ़न ने हड्डी रोग विशेषज्ञ के रूप में अपनी सेवाएं दे रहे थे। जैसे ही सीएमएचओ बने तो जिला चिकित्सालय की बदहाल व्यवस्था को भूल गये या फिर यह कहें कि जिला चिकित्सालय सह ट्रामा सेंटर की बदहाल व्यवस्था को सुधारने में नाकाम साबित हो रहे हैं। सूत्र तो यह भी दावा करते हैं कि सीएमएचओ के पास प्रशासनिक कामकाज करने का अनुभव नही है या फिर रूचि नही ले पा रहे हैं, इसे तो वही बता पाएंगे।
इनका कहना:-
मुझे अभी जानकारी नही है, हार्निया बिमारी के ऑपरेशन को लेकर संबंधित चिकित्सको से बात करूंगा, इसके बाद बता पाऊंगा।
पुष्पराज सिंह ठाकुर, सीएमएचओ, सिंगरौली