laser technology : इंटरनेट आजकल हर किसी की जरूरत बन गया है। बच्चे हों या बड़े, हर कोई इंटरनेट के जरिए अपने अधूरे काम पूरे कर रहा है। अभी तक देश में इंटरनेट तक पहुंचने (access the internet) के लिए केबल की जरूरत होती है, चाहे वह फाइबर इंटरनेट (fiber internet) हो या पुराने जमाने इंटरनेटसभी को घर तक पहुंचाने के लिए तारों की जरूरत होती है, जिसमें केबल को घर में लाना और उसे वाई-फाई से जोड़ना और फिर पूरे घर में वाई-फाई का उपयोग करना शामिल है।
laser technology : हम आपको बता दें कि आने वाले दिनों में केबल के जरिए इंटरनेट मुहैया कराने की जरूरत नहीं पड़ेगी। क्योंकि, बहुत जल्द लेजर तकनीक के जरिए इंटरनेट आपके घर तक पहुंच जाएगा। इसके बाद तार टूटने या तार कटने की टेंशन खत्म हो जाएगी. लेजर तकनीक की मदद से दूर पहाड़ों में भी इंटरनेट आसानी से पहुंचाया जा सकता है। आइए जानें कि लेजर इंटरनेट शुरू होने में कितना समय लगेगा।
लेजर टेक्निक से मिलेगा इंटरनेट
देश की दूसरी सबसे बड़ी टेलीकॉम कंपनी एयरटेल ने लेजर इंटरनेट के लिए गूगल की मूल कंपनी अल्फाबेट के साथ साझेदारी की है। इस तकनीक के जरिए एयरटेल देश के शहरों के साथ-साथ गांवों तक भी हाई स्पीड इंटरनेट पहुंचाएगा। इसका उपयोग लेजर तकनीक में नहीं किया जाएगा. इसके स्थान पर विभिन्न स्थानों पर एक मशीन लगाई जाएगी, जो लेजर बीम के जरिए घर-घर इंटरनेट पहुंचाएगी।
सीधे शब्दों में कहें तो लेजर लाइटों का विपणन बच्चों के खिलौनों के रूप में किया जाता है। यह तकनीक उसी तरह काम करेगी. आपने बच्चों को लेजर लाइट से दूर तक रोशनी मारते देखा होगा। इसी तरह एयरटेल लेजर तकनीक के जरिए दूरदराज के इलाकों तक इंटरनेट पहुंचाएगी। laser technology
प्रोजेक्ट Taara लाएगा रिवॉल्यूशन
आपको बता दें, इस लेजर-आधारित इंटरनेट तकनीक को अल्फाबेट की एक्स नामक कैलिफोर्निया इनोवेशन लैब में विकसित किया गया था। इस प्रोजेक्ट का नाम तारा है. यह तकनीक तेज़ इंटरनेट प्रदान करने के लिए लाइट बीम (यानी प्रकाश किरण) का उपयोग करती है।