Viral video: सागर, 5 अक्टूबर (भाषा) मध्यप्रदेश के सागर जिले में राजस्व विभाग के एक पटवारी को पंचायत सदस्य की पीठ पर पैर रखकर माफी मांगवाने के लिए मजबूर करना महंगा पड़ गया.
Viral video: फोटो वायरल होने के बाद कलेक्टर ने संबंधित पटवारी को निलंबित कर दिया. एक अधिकारी ने बुधवार को यह जानकारी दी। आरोपी विनोद अहिरवार ने सोमवार को अपने इस पूरी घटना की एक फोटो खींची और इसे सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया।
जिलाधिकारी दीपक आर्य ने बुधवार को कहा कि बीना तहसील के तहत भानगढ़ में पटवारी के पद पर तैनात अहिरवार को बीना के
बता दें कि कलेक्टर ने जनपद सदस्य के पीठ पर पैर रखकर माफी मंगवाने वाले पटवारी को सस्पेंड कर दिया है। दरअसल एक मामले को लेकर पटवारी विनोद अहिरावत जनपद सदस्य से नाराज था.
जहां पटवारी ने अपना रसूख दिखाते हुए जनपद सदस्य की माफी मांगने बस से संतुष्ट नहीं हुआ. उसने जनपद सदस्य झुका तो पटवारी ने उसकी पीठ पर पैर रखकर आशीर्वाद दिया और फोटो खिंचवा ली, फिर वायरल कर दी थी.यह तस्वीर सोशल मीडिया पर वायरल हुई तो कुछ अधिकारियों ने इस पूरे मामले को संज्ञान में लेते हुए कार्यवाही कर दी. Viral video
संपर्क करने पर जनपद पंचायत सदस्य क्षमाधर कुर्मी ने बताया कि दो अक्टूबर को गांधी जयंती कार्यक्रम के दौरान पटवारी की कुर्सी उन्हें दिए जाने पर पटवारी ने आपत्ति जताई थी. इस बात से पटवारी जनपद सदस्य से जमकर बहस भी की थी हालांकि जनपद सदस्य माफी भी मांग रहा था बावजूद इसके अहिरवार जनपद सदस्य से काफी नाराज थे. Viral video
उन्होंने कहा कि दलित समुदाय से ताल्लुक रखने वाले अहिरवार ने कुर्मी के खिलाफ कथित तौर पर कर्त्तव्य में बाधा डालने के लिए पुलिस में शिकायत दर्ज कराई और अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) अधिनियम के तहत मामला दर्ज कराने की धमकी भी दी. Viral video
कुर्मी ने कहा कि जब उन्होंने अहिरवार से अपनी गलती के लिए हाथ जोड़कर भी माफी मांगी थी उसी दौरान जब वह पैर छूकर माफी मांगी तो अहिरवार ने अपना दाहिना पैर उनकी पीठ पर रख दिया. पटवारी ने अपने रसूख दिखाने के लिए इस पूरे घटना की एक तस्वीर भी खिंचवाई और फिर उसे सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया. कुर्मी ने बाद में पटवारी के कृत्य की शिकायत एसडीएम से की, जिन्होंने जांच की और जिला कलेक्टर को रिपोर्ट सौंपी. Viral video
कलेक्टर ने कहा कि पंचायत सदस्य के साथ अहिरवार की ‘अश्लील हरकत’ से सरकारी कर्मचारियों की छवि खराब हुई है. उन्होंने कहा कि एक जनप्रतिनिधि का अपमान करना सरकारी कर्तव्यों के प्रति कदाचार की श्रेणी में आता है. जिसकी वजह से पटवारी को निलंबित किया गया है पटवारी के निलंबन के बाद जनप्रतिनिधियों में खुशी का माहौल है. Viral video