Mukesh Ambani : जियो के पॉडकास्ट के पॉडकास्ट के बाद बजाज फिनसर्व, एचडीएफसी बैंक सहित कई एसोसिएट्स को सीक्वल टक्कर देने वाली कंपनी शामिल हो गई। अभी ये सेवा रिलाएंस डिजिटल के चुनिंदा स्टोर्स पर पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर शुरू की गई है।
Mukesh Ambani : जल्द ही रिलायंस डिजिटल से TV-AC, फ्रिज समेत तमाम तरह के कंज्यूमर ड्यूरेबल आइटम्स की खरीद के लिए ग्राहकों को जियो फाइनेंशियल सर्विसेज से लोन मिलना शुरू हो सकता है. जिससे रिलायंस डिजिटल के कस्टमर को अन्यत्र किसी कंपनी से लोन नहीं लेना पड़ेगा ,इसके लिए रिलायंस ने अपने कंज्यूमर ड्यूरेबल फाइनेंस प्रोग्राम की टेस्टिंग शुरू कर दी है.
इस पायलट प्रोजेक्ट के सफल होने के बाद कंपनी इस साल में की आखिरी तिमाही में जियो फाइनेंशियल सर्विसेज (Jio Financial Services) को लॉन्च कर की संभावना है. कंपनी रिलायंस डिजिटल से शॉपिंग करने वाले ग्राहकों को खुद लोन की व्यवस्था करेगी जिसके लिए Jio Financial Services फाइनेंस के बेहतर ऑप्शंस और ऑफर देना चाहती रही है, जिससे रिलायंस रिटेल का मुनाफा बढ़ सकता है . रिलायंस डिजिटल के कई स्टोर्स पर पायलट प्रोजेक्ट के जरिए कंपनी अलग-अलग सामानों की खरीदारी करने वालों को दूसरे फाइनेंशियल संस्थानों और बैंको के साथ ही जियो फाइनेंस का भी विकल्प दिया जा रहा है. जियो की फाइनेंशियल सर्विसेज के आगाज के बाद बजाज फिनसर्व, HDFC बैंक समेत फाइनेंशियल सर्विस देने वाली कई कंपनियों को कड़ी गजब का टक्कर होगा .
रिलाएंस इंडस्ट्रीज और रिलांयस स्ट्रैटजिक जांच के डेमर्जर को 2 महीने पहले 4 मई को क्रेडिट्स और शेयर होल्डर्स ने मंजूरी दे दी थी। इस डिमर्जर को शेयर-स्वैप व्यवस्था के माध्यम से किया जाएगा। डीमर्जर की प्रक्रिया होने के बाद रिलायन्स स्ट्रैटेजिक जांच का नाम फुल जियो इंकलाब लिमिटेड कर दिया गया।
नई कंपनी की अक्टूबर तक स्टॉक मार्केट में लिस्ट होने का अनुमान बताया जा रहा है। आरआईएल के कथनों को उनके हरेक शेयर के लिए जिओ नेवेलाइट का एक शेयर मिलेगा। 2022 में रिलाइक्स इंडस्ट्रीज ने अपने लोकल बिजनेस को अलग करके एक अलग यूनिट बनाई और बाद में इसे स्टॉक रेटिंग्स पर लिस्ट करने का ऐलान किया था।
नई कंपनी का बिजनेस प्लान क्या है?
जियो फाइनेंशियल सर्विसेज ने उपभोक्ता और मर्चेंट लैंडिंग व्यवसाय शुरू करने की योजना बनाई है। वैश्विक वित्तीय सेवा कंपनी मैक्वेरी एनबी ने पिछले साल अपनी रिपोर्ट में कहा था कि बिजनेस मार्केट ग्रोथ के लिहाज से रिलायंस के फाइनेंशियल सर्विसेज पेटीएम और अन्य फिनटेक कंपनियों के लिए एक बड़ा अधिकार थी। जियो फाइनेंशियल सर्विसेज अधिकांश फिनटेक से इस मायने में भिन्न होगी कि इसका डेटा दूरगामी है। Jio, अली बाबा, Amazon, Apple जैसी वित्तीय सेवाएं प्रदान करने के लिए इस डेटा को वास्तविक समय में संसाधित और विश्लेषण करना संभव है।
जियो से फाइनेंशियल सर्विसेज को बड़ी चुनौती का सामना करना पड़ेगा
डीमर्जर के बाद जियो फाइनेंशियल सर्विसेज देश की पांचवीं सबसे बड़ी वित्तीय सेवा कंपनी बन सकती है। रिलायंस इंडस्ट्रीज के पास एनबीएफसी लाइसेंस भी है जिससे कंपनी को उपभोक्ता या व्यापारी ऋण देने में फायदा होगा। रिलायंस के वित्तीय सेवा व्यवसाय में रिलायंस इंडस्ट्रियल इन्वेस्टमेंट्स एंड होल्डिंग्स लिमिटेड, रिलायंस पेमेंट सॉल्यूशंस लिमिटेड, जियो पेमेंट्स बैंक लिमिटेड, रिलायंस रिटेल फाइनेंस लिमिटेड, जियो इंफॉर्मेशन एग्रीगेटर सर्विसेज लिमिटेड और रिलायंस रिटेल इंश्योरेंस ब्रोकिंग लिमिटेड शामिल हैं।Mukesh Ambani :