मध्यप्रदेश के रीवा में खाद वितरण केंद्र के बाहर पुलिस ने आदिवासी किसान को न केवल अपशब्पद कहें बल्कि लात घूसों से पिटाई भी कर दी । जिसका वीडियो सोशल मीडिया में वायरल हो रहा है। वहीं दूसरी तरफ पुलिस आदिवासी किसान के द्वारा लगाए जा रहे सभी आरोपों को निराधार बताया है। साथ ही कहा कि किसान नशे में था और हंगामा कर रहा था। आदिवासी किसान ने पुलिस पर बिना वजह पीटने का आरोप लगाया है और मारपीट करने वाले पुलिसकर्मियों पर कार्यवाही की मांग की है।
बता दें कि इन दिनों प्रदेश भर में खाद की किल्लत है जिससे किसान खाद के लिए परेशान है घंटों लाइन में लगने के बाद उन्हें खाद की जगह जिल्लतों का सामना करने के साथ लाठियां मिल रही है। अब रीवा जिले के जवा के किसान समृद्धि केंद्र जवा महूहा टोला में एक आदिवासी किसान प्रभुदायल के साथ पुलिस कर्मियों द्वारा मारपीट की है। इस पूरे मामले का वीडियो भी सामने आया है जिसमे दो पुलिस कर्मी उसे पकड़कर गाड़ी में बिठाते हुए उसकी हाथ और पैर से पिटते नजर आ रहे है।
किसान ने बताया कि जब मैं अपना टोकन लेकर काउंटर पर पहुंचा तो वहां के कर्मचारियों ने मुझे दो बोरी खाद देने के लिए बोलें। जहां मेरे द्वारा कहा गया कि एक टोकन में पांच बोरी खाद देने का नियम आप लोगों ने बनाया है। मेरे निवेदन करते ही वहां मौजूद पुलिसकर्मी प्रधान आरक्षक अनुराग तिवारी और आरक्षक शिवेंद्र मिश्रा द्वारा गाली गलौच करते हुए लात घूंसे से मुझे मारने लगें । साथ ही मुक़दमा दर्ज करने की धमकी देते हुए मुझे जबरन गाड़ी में बैठाकर जवा थाने ले गए। मुझे लगातार एक के बाद एक कई बार मारें, इस बीच पुलिस वालों से मैंने अपनी ग़लती भी पूछा लेकिन पुलिस वाले मुझे नशेड़ी कहते हुए मारपीट करते रहें।